काहिरा। मिस्र के उत्तरी सिनाई क्षेत्र में शुक्रवार को एक मस्जिद में आतंकी हमले में 235 लोग मारे गए और 100 से अधिक लोग घायल हो गए। हालांकि अभी तक किसी भी आतंकी संगठन ने हमले की जिम्मेदारी नहीं ली है।
जान बचाकर भाग रहे लोगों पर फायरिग
स्थानीय मीडिया के मुताबिक, यह हमला उस समय हुआ जब लोग जुम्मे की नमाज पूरी कर रहे थे और इसी दौरान एक जोरदार धमाका हुआ। इसके बाद मस्जिद के बाहर 40 बंदूकधारियों ने अपनी जान बचाकर भाग रहे लोंगो पर फायरिंग शुरु कर दी।
महिलाओं-बच्चों को भी नहीं बख्शा
प्रत्यक्षदर्शियों का कहना है कि जो लोग मस्जिद से बाहर निकलने की कोशिश कर रहे थे, बाहर खड़े हथियारबंद लोग उन्हें निशाना बना रहे थे और उन्होंने महिलाओं, बच्चों तथा बूढ़ों को भी नहीं बख्शा।
मरने वालों मे सूफी संत भी शामिल
सरकारी अभियोजक कार्यालय के अनुसार इस हमले में 235 से अधिक लोग मारे गए और 109 से अधिक घायल हुए हैं।
अल अरबिया चैनल के मुताबिक मरने वालों में कुछ सूफी संत भी शामिल है।
राष्टपति ने बुलाई आपात बैठक
मीडिया रिपोर्ट में बताया गया है कि इस हमले के बाद राष्ट्रपति अब्देल फतह अल सीसी ने आपात बैठक बुलाई और इस तरह की घटनाओं से निपटने की रणनीति बनाने पर विचार किया।
इस जघन्य घटना का बदला लिया जाएगा
उन्होंने एक बयान जारी करते हुए कहा कि, इस घटना का बदला लिया जाएगा। साथ ही उन्होंने कहा इस जघन्य हमले के दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा और जो भी इस हमले में शामिल हैं, जिन्होंने आतंकवादियों की मदद की, धनराशि मुहैया कराई तथा इस कायराना हमले के लिए उकसाया, उन सभी को कड़ी सजा मिलेगी।
ट्रंप ने की हमले की निंदा
इस बीच अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक टिवट् करते हुए इस हमले को भयानक और कायराना आतंकवादी हमला करार दिया है। उन्होंने कहा विश्व आतंकवाद को कतई बर्दाश्त नहीं कर सकता है और आतंकवादियों का खात्मा कर उस विचारधारा का भी समूल नाश करना है जो इस तरह के हमलों का आधार बनती है। फ्रांस के विदेश मंत्री ज्यां विस ली ड्रायन ने इस हमले की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि संकट की इस घड़ी में उनका देश मिस्र के साथ है।