लंदन। कश्मीर मुद्दे पर पाकिस्तानी मूल की शिक्षा अधिकार कार्यकर्ता और नोबेल पुरस्कार विजेता मलाला यूसुफजई ने भी एक बयान जारी किया है। मलाला ने गुरुवार को कश्मीर मुद्दे का शांतिपूर्ण समाधान निकाले जाने की अपील की और कहा कि 'हम सभी शांति के साथ रह सकते हैं। उन्होंने कहा कि 'एक दूसरे को नुकसान पहुंचाने' की कोई आवश्यकता नहीं है।
मलाला ने ट्वीट किया, 'जब मैं बच्ची थी, जब मेरी मां और मेरे पिता बच्चे थे, जब मेरे दादा-दादी, नाना-नानी युवा थे, कश्मीर के लोग तभी से संघर्ष की स्थिति में जी रहे हैं। सबसे कम उम्र में नोबेल पुरस्कार पाने वाली मलाला (22) ने कहा कि वह कश्मीर की फिक्र करती हैं क्योंकि 'दक्षिण एशिया मेरा घर है, एक ऐसा घर जिसे मैं कश्मीरियों समेत 1.8 अरब लोगों के साथ साझा करती हूं।
मलाला ने कहा कि यह क्षेत्र विभिन्न संस्कृतियों, धर्मों, भाषाओं, व्यंजनों और परम्पराओं का प्रतिनिधित्व करता है। उन्होंने उम्मीद जताई कि 'हम सभी शांति के साथ रह सकते हैं। मलाला ने कहा, 'इस बात की कोई आवश्यकता नहीं है कि हम पीड़ा सहें और एक दूसरे को नुकसान पहुंचाएं। उन्होंने कहा कि उन्हें कश्मीर में मुख्य रूप से महिलाओं और बच्चों की चिंता है क्योंकि उन्हें 'हिंसा का आसानी से शिकार बनाया जा सकता है और इस संघर्ष में उन्हें ही सर्वाधिक नुकसान होने की आशंका है।