अयोध्या। अयोध्या में 6 दिसम्बर 1992 को विवादित ढांचा गिराये जाने की 27वीं बरसी पर आज राम की नगरी में सुरक्षा व्यवसथा चाक चौबंद है और चप्पे चप्पे पर पुलिस नजर रखे हुये है। हालांकि पूरे उत्तर प्रदेश में हाई अलर्ट है लेकिन अयोध्या में विशेष सुरक्षा इंतजाम किये गये हैं । रामलला का मंदिर बनाने को लेकर उच्चतम न्यायालय के पिछले 9 नवम्बर को आये फैसले के बाद यह पहली बरसी है।
इसको लेकर अयोध्या में सुरक्षा व्यवस्था काफी चौकस है। फैसले के बाद ही अयोध्या में 15 दिसंबर तक धारा 144 लागू है, आज इसमें और सख्ती की गई है। केंद्रीय बल के जवानों के साथ स्थानीय पुलिस भी यहां पर हर गतिविधि पर नजर रखे है। अयोध्या प्रशासन ने सुरक्षा की दृष्टि से शहर की सड़कों पर रूट मार्च किया। राम जन्मभूमि जाने वाले सभी मार्गों पर बैरिकेडिंग लगा दी गई है। 9 नवंबर को अयोध्या विवाद पर फैसला आने के समय प्रशासन ने जो सुरक्षा के इंतजाम किए थे वही सुरक्षा के इंतजाम 6 दिसंबर को भी लेकर किए जा रहे हैं।
शुक्रवार होने की वजह से बड़ी संख्या में मुस्लिम समाज जुमे की नमाज अदा कर रहे हैं। अयोध्या में प्रवेश के रास्ते पर बैरेकेंिटग लगा दी गई है । लोगों के आधार और आवास प्रमाण पत्र के सत्यापन के बाद ही अयोध्या की सीमा में प्रवेश करने दिया जा रहा है। सुरक्षा की कमान पुलिस अधीक्षक आशीष तिवारी ने संभाल रखी है । सुरक्षा में पांच अपर पुलिस अधीक्षक,10 क्षेत्राधिकारी ,35 इंसपेकटर,100 महिला पुलिस,350 सिविल पुलिस के जवान,39 कंपनी पीएसी ओर एटीएस के कमांडो लगाये गये हैं । अयोध्या को चार जोन और 10 सेक्टर में बांट दिया गया है ।