नई दिल्ली। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा कि नवाचार की परिणति आम लोगों के इस्तेमाल के उत्पादों और सेवाओं में होनी चाहिए। कोविंद ने यहाँ नवाचार एवं उद्यमिता मेले के औपचारिक समापन के मौके पर कहा “नवाचार हमारा अंतिम उद्देश्य नहीं होना चाहिए। इसकी परिणति आम लोगों के इस्तेमाल के उत्पादों और सेवाओं में होनी चाहिए।” उन्होंने कंप्यूटर तथा अन्य इलेक्ट्रॉनिक उत्पाद बनाने वाली जानी-मानी कंपनी एप्पल का उदाहरण देते हुए कहा कि भले ही स्टीव जॉब्स ने पहला कंप्यूटर एक गैराज में बनाया था, लेकिन यदि अपने कंप्यूटर को वह बाजार में नहीं ले जाते तो कभी सफल नहीं होते।
पिरामिड के निचले स्तर को ऊपरी स्तरों से जोड़ने की वकालत करते हुये उन्होंने कहा कि नीति निर्माताओं को स्थापित तथा उभर रहे उद्यमियों के साथ जुड़े रहना चाहिए। राष्ट्रपति ने कहा कि नवाचार की संस्कृति सिर्फ विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी तक सीमित नहीं है। उन्होंने कहा कि नवाचार एवं उद्यमिता मेला, 2018 के तीन दिन के दौरान नीति निर्माताओं, जमीनी स्तर के नवाचारियों, उद्योग तथा छात्रों का मंथन देखने को मिला।
औपचारिक समापन के बावजूद शुक्रवार तक मेला आम लोगों के लिए खुला रहेगा जहाँ वे नवाचारियों की प्रदर्शनियाँ देख सकते हैं और उनके अनुसंधान के बारे में जान सकते हैं। प्रवेश दोपहर 12 बजे से शाम पाँच बजे तक राष्ट्रपति भवन के गेट नंबर 35 से होगा। इसका उद्घाटन सोमवार को श्री कोविंद ने किया था।