अहमदाबाद। बुलेट ट्रेन की आधारशिला रखने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी और जापान के पीएम शिंजो के बीच द्विपक्षीय बातचीत हुई। उसके बाद दोनों देशों के बीच कई अहम समझौते हुए। माना जा रहा है कि रक्षा, परिवहन और ऊर्जा के क्षेत्र में 10 से ज्यादा समझौते होने की उम्मीद है। इससे पहले जापानी पीएम शिंजो आबे ने कहा था कि हम भारत के हित में हैं और जापान के हित में भारत है। चीन पर परोक्ष रूप से निशाना साधते हुए आबे ने कहा था कि हिंद-प्रशांत महासागर में शांति और संप्रभुता का सम्मान हो।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि जापान से जल-थल-आकाश में चलने में सक्षम 12 यूएस-1 विमान लेने के बहुत समय से लंबित भारतीय प्रस्ताव और रक्षा उद्देश्यों के लिए मानव रहित जमीन पर चलने वाले वाहनों एवं रोबोट के क्षेत्र में अनुसंधान समन्वय के लिए विशेष तौर पर चर्चा हो सकती है। इससे दोनों देशों के बीच सामरिक भागीदारी के साथ रक्षा संबंध भी गहरे हो सकते हैं।
भारत जापान वार्षिक बैठक ऐसे समय में हो रही है, जब हाल ही में सिक्किम क्षेत्र में चीन के साथ सीमा पर चल रहा डोकलाम गतिरोध खत्म हुआ है, तो उत्तर कोरिया द्वारा किये गये परमाणु परीक्षण और दक्षिण चीन सागर पर चीन के बढ़ते दावे के चलते क्षेत्र में तनाव बढ़ा है। मोदी एवं आबे इस मुद्दे पर विचार कर सकते हैं। आबे की यात्रा से पहले भारत, जापान रक्षा मंत्री स्तरीय वार्षिक वार्ता टोक्यो में हो चुकी है।