जयपुर। गुजरात के सलामी बल्लेबाज समित गोहेल (26) ने तिहरा शतक जड़ते हुए इतिहास रच दिया। ओडिशा के खिलाफ खेले गए रणजी ट्रॉफी क्रिकेट क्वार्टर फाइनल मुकाबले में मंगलवार को समित ने 359 रनों की नाबाद पारी खेली। इस विशाल आंकड़ें को छूते ही गोहेल ने 117 साल पुराने प्रथम श्रेणी क्रिकेट रिकॉर्ड को तोड़ दिया। इससे पहले प्रथम श्रेणी क्रिकेट में किसी भी सलामी बल्लेबाज के सर्वाधिक स्कोर का रिकॉर्ड सरे के बल्लेबाज बॉबी एबल के नाम था।
उन्होंने 1899 में समरसेट के खिलाफ 357 रन बनाए थे। गोहेल ऐसे चौथे तिहरा शतकधारी खिलाड़ी भी बन गए हैं, जो पूरी पारी के दौरान नाबाद रहे। अपनी पारी में उन्होंने 723 गेंदों का सामना किया, जिसमें 45 चौके व एक छक्का शामिल है। गोहेल की इस पारी के सहारे गुजरात बढ़त के आधार पर ओडिशा को हराकर सेमीफाइनल में पहुंचा।
16 घंटे 4 मिनट क्रीज पर बिताए
गुजरात के ओपनर समित गोहेल ने 964 मिनट क्रीज पर रहकर 723 गेंदों पर 359* रन की अपनी पारी में 45 चौके और 1 छक्का लगाया।
संयुक्त चौथे बल्लेबाज
गोहेल भारत के संयुक्त रूप से सर्वाधिक स्कोर बनाने वाले चौथे बल्लेबाज बन गए। महाराष्ट्र के भाऊ साहेब निंबालकर ने 1948 में नाबाद 443 रन, मुंबई के संजय मांजरेकर ने अप्रैल 1991 में 377 रन, हैदराबाद के मातुरी श्रीधर ने जनवरी 1994 में 366 रन और मुंबई के विजय मर्चेंट ने दिसंबर 1943 में नाबाद 359 रन की पारियां खेली थीं।
सत्र का पांचवां तिहरा शतक
गोहेल ने इस सत्र में तिहरा शतक लगाने वाले पांचवें बल्लेबाज हैं। गुजरात की ओर से इस सत्र में यह दूसरा तिहरा शतक निकला। इससे पहले ओपनर प्रियंक पांचाल ने नवंबर में पंजाब के खिलाफ नाबाद 314 रन बनाए थे। गोहेल ने इस सत्र में महाराष्ट्र के कप्तान स्वप्निल गुगाले के नाबाद 351 रन के स्कोर को पीछे छोड़ दिया।
300 के खिलाड़ी
351*रन-स्वप्निल गुगाले, महाराष्ट्र
308 रन - ऋषभ पंत, दिल्ली
304* रन - सगुन कामत, गोवा
314* रन - प्रियंक पांचाल, गुजरात
359* रन - समित गोहेल, गुजरात
क्या है बैट थ्रू
गोहिल ने बतौर सलामी बल्लेबाज प्रथम श्रेणी क्रिकेट में टीम की पारी के अंत तक नाबाद रहकर सबसे बड़ा स्कोर खड़ा करने का कीर्तिमान बनाया। क्रिकेट की भाषा में इसे बैट-थ्रू कहा जाता है। यानी सलामी बल्लेबाज के रूप में उतरना और आउट ना होना। इस मैच की पहली पारी में समित गोहिल ने सिर्फ चार रन बनाए थे, लेकिन दूसरी पारी में 300 के पार चले गए।