श्रीराम भक्त और कलयुग के देव कहे जाने वाले हनुमानजी की जंयती इस बार चार अप्रैल को मनाई जाएगी। नवसंवत्सर के राजा शनिदेव हैं, जिससे इस दिन जंयती होने से मंगलकारी रहेगी। वहीं इस बार खग्रास चंद्रग्रहण भी लगेगा। ज्योतिष विनोद रावत ने बताया कि इस ग्रहण में स्पर्श दिन 3.46 मिनट, मध्य शाम 5.30 बजे, मोक्ष रात्रि 7.15 बजे दर्शाया है। यह ग्रहण अमेरिका, मैक्सिको, चीन, कोरिया, ऑस्ट्रेलिया, जापान इत्यादि देशों में भी नजर आएगा। वहीं भारत के सुदूर उत्तर भारत पूर्वी भाग एवं अंडमान निकोबार द्वीपसमूह में दिखाई देगा।
उन्होंने बताया कि भारत में चंद्रोदय 6.48 मिनट पर होगा। चंद्रोदय से ग्रहण मोक्ष के समय में मात्र 27 मिनट का अंतर रहेगा। इस दिन ज्योतिष शास्त्र दिन में 3.46 मिनट पर चंद्रमा के दर्शन करा रहा है, जिससे ग्रहण को लेकर शंकाएं पैदा की जा रही हैं। ज्योतिषी की मानें तो चंद्रग्रहण मप्र में दिखाई देगा। उनके अनुसार भुवन विजय पंचांग में पेज नंबर 2 पर स्पष्ट लिखा है कि इस वर्ष विश्व में चार ग्रहण पड़ रहे हैं, जिनमें से 2 सूर्य ग्रहण एवं 2 चंद्रग्रहण होंगे। इनमें से भारत में मुख्य रूप से केवल एक सूर्य ग्रहण दिखाई देगा।
चंद्रग्रहण पर राशियों का प्रभाव
इस समय मेष-राशि पर आढ़ैया शनि, तुला-वृश्चिक-धनु राशि पर साढ़े साती शनि की दशा चल रही है। इस राशियों के जातकों को हनुमानजी पर चोला चढ़ाना चाहिए एवं शनिदेव को तेल, तिल, गुड़, काला कपड़ा, नाल एवं दीपक जलाकर प्रसन्न करना चाहिए। कई मंदिरों में हनुमान जंयती पर चंद्रग्रहण को मानने के कारण दूसरे दिन भंडारे का आयोजन रखा जाएगा।