एक नए अध्ययन में खुलासा किया गया है कि नींद की कमी शादीशुदा जिंदगी में समस्याओं का कारण बन सकती है। ओहियो स्टेट यूनिवर्सिटी में इंस्टिट्यूट फॉर बिहैवियरल मेडिसिन रिसर्च द्वारा किए गए इस अध्ययन के अनुसार सूजन (इन्फ्लेशन) संबंधी प्रतिक्रियाएं कई प्रकार की क्रॉनिक बीमारियों, हृदयरोग और आर्थराइटिस से जुड़ी होती हैं। अध्ययन प्रमुख स्टेफनी विलसन के मुताबिक नींद नहीं आने के मामले चूंकि सूजन से जुड़े होते हैं, इसलिए हमने इनका संबंध किसी जोड़े के विवाह के साथ समझने की कोशिश की।
अध्ययन के लिए किसी विवाहित जोड़े की तनावपूर्ण स्थितियों के प्रति उनकी प्रतिक्रिया की तुलना इस बात से की गई कि वे कितने समय सो पा रहे हैं। शोध में शामिल 43 जोड़े वैवाहिक जीवन से जुड़े किसी मुद्दे को लेकर परेशान थे। विषय पर बात करने से पहले, जोड़ों के खून का नमूना और वे कितनी नींद ले पाते हैं, के बारे में जानकारी हासिल की गई। विषय पर चर्चा करने के बाद खून का दूसरा नमूना हासिल किया गया। विलसन के मुताबिक हमने पाया कि पिछली कुछ रातों को जो लोग कम सो पाए थे, वे अधिक जलन के साथ सोकर नहीं उठे मगर विवाद को लेकर उनकी जलन (इन्फ्लेमेशन) संबंधी प्रतिक्रिया अधिक प्रखर थी। इसका मतलब यह हुआ कि नींद की कमी तनाव के प्रति व्यक्ति को कमजोर बनाने की अधिक क्षमता रखती है।
जो लोग सात घंटे से कम सोए उनके अपने जीवनसाथी के साथ लड़ाई की संभावना अधिक थी। ऐसे लोगों के रक्त में सूजन संबंधी प्रतिक्रिया का स्तर अधिक ऊंचा था। अच्छी नींद लेने वाले जीवनसाथी उन लोगों के मुकाबले किसी भी समस्या को लेकर सकारात्मक सोच रखने वाले पाए गए जो पूरी नींद नहीं ले पा रहे थे। विशेषज्ञों ने विवाहित जोड़ों को सलाह दी है कि वे अपने शादीशुदा जीवन को बेहतर बनाने और अपनी खुशहाली के लिए कम से सात घंटे की नींद अवश्य लें।