भुवनेश्वर। भारतीय पुरूष टीम पुरूष हॉकी विश्वकप में धमाकेदार शुरूआत के बाद आत्मविश्वास से लबरेज दिख रही है लेकिन रविवार को उसकी असल परीक्षा रियो ओलंपिक की रजत विजेता और विश्व की तीसरे नंबर की टीम बेल्जियम से पार पाना होगा। भारत ने विश्वकप में दक्षिण अफ्रीका को 5-0 से हराकर टूर्नामेंट की विजई शुरूआत की थी। हालांकि बेल्जियम जैसी मजबूत टीम के खिलाफ जीत दर्ज करना उसके लिये मुश्किल चुनौती माना जा रहा है। घरेलू मैदान पर खिताब की तलाश में जुटी मेजबान टीम की निगाहें बेल्जियम को हराने के साथ क्वार्टरफाइनल में स्थान सुनिश्चित करने पर भी लगी होंगी।
रियो ओलंपिक की रजत विजेता बेल्जियम ने कनाडा के खिलाफ पहले मुकाबले में 2-1 से जीत दर्ज की थी जबकि भारतीय टीम ने दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ एकतरफा प्रदर्शन से प्रभावित किया था। आठ बार की ओलंपिक चैंपियन भारत ने वर्ष 1975 में विश्वकप खिताब जीता था और 43 साल बाद वह घर में इतिहास रचने के लिये खेल रही है और उम्मीद है कि बेल्जियम के खिलाफ वह इस लय को कायम रखने का
प्रयास करेगी। भारतीय टीम के फारवर्ड मनदीप सिंह, सिमरनजीत सिंह, आकाशदीप सिंह और ललित उपाध्याय ओपंनिग मैच में प्रभावशाली रहे थे। मनप्रीत की अगुवाई में मिडफील्ड विभाग में भी खिलाड़ियों का प्रदर्शन काबिलेतारीफ था। हालांकि भारत को डिफेंस में सुधार की जरूरत है। डिफेंडर हरमनप्रीत सिंह, बीरेंद्र लाकड़ा, सुरेंद्र कुमार और गोलकीपर पी आर श्रीजेश के लिए बेल्जियम के खिलाफ और बेहतर प्रदर्शन करना होगा जिसके खिलाफ आक्रामक खेल के लिए जाने जाते हैं।