नई दिल्ली। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) का न्यासी बोर्ड अपनी सामाजिक सुरक्षा योजनाओं में वेतन से अनिवार्य अंशदान को घटाकर 10 प्रतिशत करने के प्रस्ताव को मंजूरी दे सकता है। वर्तमान व्यवस्था के तहत कर्मचारी व नियोक्ता कर्मचारी भविष्य निधि योजना, कर्मचारी पेंशन योजना तथा कर्मचारी जमा संबद्ध बीमा योजना में कुल मिलाकर मूल वेतन की 12—12 प्रतिशत राशि का योगदान करते हैं।
इस संबंध में ईपीएफओ की 27 मई को पुणे में बैठक होने वाली है। कर्मचारी व नियोक्ता द्वारा अंशदान को घटाकर वेतन का 10 प्रतिशत करने का प्रस्ताव है। श्रम मंत्रालय को इस बारे में कई आवेदन मिले हैं। इस कदम से कर्मचारियों के पास खर्च के लिए अधिक राशि बचेगी, जबकि नियोक्ताओं की देनदारी भी कम होगी।