नई दिल्ली। मोदी सरकार ने किसानों की हालत सुधारने के लिए इस वर्ष किसानों को सीधे अर्थिक सहायता देने वाली ऐतिहासिक प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि और प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना को पूरे देश में लागू करने का महत्वपूर्ण कदम उठाया के लिए याद किया जायेगा। शत प्रतिशत केन्द्र प्रायोजित पीएम किसान योजना के तहत देश के सभी किसानों को सालाना 6000 रुपये की आर्थिक सहायता उनके बैंक खाते में दी जा रही है जबकि किसान पेंशन योजना को लघु एवं सीमांत किसानों के लिए इसी साल लागू किया गया है।
पीएम किसान योजना की घोषणा सरकार ने इस साल बजट के दौरान की और इसे गत वर्ष एक दिसम्बर से प्रभावी किया गया है जबकि किसान पेंशन योजना की शुरुआत 12 सितम्बर से की गयी है। पीएम किसान योजना के तहत किसानों को 2000 - 2000 रुपये की राशि एक साल में तीन किश्तों में चार चार माह में दी जायेगी। इस योजना से करीब 14.5 करोड़ किसानों के लाभान्वित होने का अनुमान है। इस योजना के तहत 87000 करोड़ रुपये का बजट प्रावधान किया गया है और अब तक आठ करोड़ से अधिक किसानों ने इस योजना का लाभ उठाया है। इस योजना को राज्य सरकारों के माध्यम से लागू किया जा रहा है और किसानों की पहचान की जिम्मेदारी भी राज्यों की ही है।
कॉमन सर्विस सेन्टर के माध्यम से किसान इस योजना के लिए निबंधन करा सकते हैं। पश्चिम बंगाल सरकार और दिल्ली ने इस योजना में विशेष दिलचस्पी नहीं ली है। लघु एवं सीमांत किसानों को ध्यान में रखकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 12 सितंबर को झारखंड से प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना की शुरुआत की थी। इस योजना के तहत 60 की उम्र के बाद किसानों को मामूली आंशदान पर 3000 रुपये मासिक पेंशन मिलेगा। किसान पेंशन योजना 18 से 40 वर्ष तक की आयु वाले लघु और सीमांत किसानों के लिए हैं, जिनके पास दो हेक्टेयर तक ही खेती की जमीन है। इन्हें योजना के तहत कम से कम 20 साल और अधिकतम 42 साल तक 55 रुपये से 200 रुपये तक मासिक अंशदान करना होगा।
यह रकम उनकी उम्र पर निर्भर करती है। 60 साल होने के बाद उन्हें 3000 रुपये मासिक पेंशन मिलने लगेगी। पेंशन योजना का लाभ उठाने के लिए किसानों को कॉमन सर्विस सेंटर पर अपना निबंधन करवाने का प्रावधान है। इस पेंशन कोष का प्रबंधन भारतीय जीवन बीमा निगम कर रहा है। नेशनल पेंशन स्कीम, कर्मचारी राज्य बीमा निगम, कर्मचारी भविष्य निधि स्कीम जैसी किसी अन्य सामाजिक सुरक्षा योजना के दायरे में आने वाले लघु और सीमांत किसानों को पेंशन योजना का लाभ नहीं मिलेगा। किसान चाहें तो पीएम किसान योजना की राशि में से बीमा की राशि का अंशदान भी कर सकते हैं।
भारतीय जनता पार्टी ने लोकसभा चुनाव के दौरान अपने चुनाव घोषणा पत्र में किसानों के हित में इन योजनाओं को लागू करने का वादा किया गया था। सरकार ने इसी साल से किसान क्रेडिट कार्ड योजना का लाभ पशुपालकों को भी देने की घोषणा की। इसके साथ ही सरकार किसानों के कृषि लागत खर्च में कमी लाकर वर्ष 2022 तक उनकी आय दोगुनी करने के लिए कृषि निर्यात को बढाने, पशु पालन, मत्स्य पालन, पॉल्ट्री तथा कई अन्य योजनाओं के क्रियान्वयन पर विशेष जोर दे रही है।