नई दिल्ली। यमुना किनारे श्रीश्री रविशंकर द्वारा आयोजित विश्व सांस्कृतिक महोत्सव को एनजीटी से मंजूरी मिल गई है। साथ ही एनजीटी ने इस कार्यक्रम के एवज में श्रीश्री के आर्ट ऑफ लिविंग पर पांच करोड़ रुपये का जुर्माना भी लगाया है।
इससे पहले जल संसाधन मंत्रालय ने एनजीटी से कहा था कि श्रीश्री रविशंकर के इस कार्यक्रम को मंजूरी नहीं दी है। इस मामले को लेकर एनजीटी में सुनवाई की गई। हालांकि भाजपा सांसद मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि श्रीश्री के कार्यक्रम को सारी मंजूरी मिली हुई है।
इससे पहले, एनजीटी ने आर्ट ऑफ लिविंग से स्टेज बनाने और यमुना के इलाके को समतल करने सहित इस आयोजन के खर्च के बारे में पूछा तो आर्ट ऑफ लिविंग ने कहा कि तीन दिन के इस आयोजन पर करीब 26 करोड़ रुपये खर्च होंगे। इस पर जजों ने कहा, अगर आप इस रकम में ऐसा कर सकते हैं, तब तो यह वाकई असाधारण है। हो सकता है आगे आप ऐसे सभी राष्ट्रीय आयोजनों को संभालें।
गौरतलब है कि यमुना बैंक के करीब 1,000 एकड़ एरिया को अस्थायी गांव के तौर पर तैयार किया गया है, जहां आर्ट ऑफ लिविंग का तीन दिन का वर्ल्ड कल्चरल फेस्टिवल होना है। यहां योगा, मेडिटेशन और शांति प्रार्थनाओं के साथ सांस्कृतिक कार्यक्रम होने हैं।
वन और पर्यावरण मंत्रालय ने एनजीटी में एक हलफनामा दायर कर कहा कि यमुना किनारे अस्थायी निर्माण के लिए मंजूरी की जरूरत नहीं है। इस पर एनजीटी ने पूछा कि पर्यावरण मंत्रालय के तौर पर आपका क्या कर्तव्य है? क्या आपको लगता है कि इससे यमुना को नुकसान नहीं हो रहा? इससे पहले जल संसाधन मंत्रालय ने कहा था कि उसने इस मामले में कोई मंजूरी नहीं दी।