नई दिल्ली। जूनियर कमीशंड अधिकारियों (जेसीओ) एवं सशस्त्र सैन्य बलों के लिए उच्च सैन्य सेवा वेतन की मांग को केन्द्र सरकार ने खारिज कर दिया है। दरअसल, सेना ने करीब एक लाख अपने कर्मचारियों के लिए इस प्रकार के वेतन की मांग की थी। इस प्रकार का वेतन विगत कई वर्षों से लंबित है। इसकी प्रतीक्षा सेना में बहुत पहले से की जा रही है लेकिन इसकार ने इसे सिरे से खारिज कर दिया। इस बात की जानकारी सैन्य आधिकारिक के एक विश्वस्थ सूत्र से प्राप्त हुआ है।
सूत्रों ने कहा कि वित्तमंत्री की तरफ से लिए गए इस फैसले से सेना में नाराजगी है और वे दोबारा इसकी समीक्षा चाहते हैं। इस फैसले से 87,646 जेसीओ और 25,434 नौसेना और भारतीय वायुसेना के जवान प्रभावित होंगे। सैन्य सेवा वेतन (मिलिट्री सर्विस पे) को उनकी कठिन परिस्थिति में कार्य को पहचान देने के लिए लाया गया था। मिलिट्री सूत्र ने पीटीआई को बताया-उच्चतर सैन्य सेवा वेतन(एमएसपी) को मांग को वित्त मंत्रालय ने खारिज कर दिया है। वर्तमान में एमएसपी के दो कैटगरी हैं-एक अधिकारियों के लिए और दूसरा जेसीओ और जवानों के लिए।