नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने लंबित मामलों के लिए न्यायपालिका को जिम्मेदार ठहराने और न्यायिक व्यवस्था की आलोचना करने के लिए केंद्र सरकार को गुरुवार को फटकार लगाई। न्यायमूर्ति मदन बी. लोकुर की अध्यक्षता वाली खंडपीठ ने केंद्र सरकार से कहा कि आप अपनी ड्यूटी पूरी नहीं करते और अदालती कार्रवाई में समय लगने की बात कर सवाल उठाते हैं। न्यायमूर्ति लोकुर ने अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरलअमन लेखी से सख्त लहजे में कहा कि सरकार से कहिए, न्याय व्यवस्था की आलोचना करना बंद करे।
सरकार खुद ही अपना काम नहीं कर रही है और न्याय व्यवस्था की आलोचना करती रहती है। सरकार आपराधिक मामलों में त्वरित सुनवाई के लिए कोई कदम नहीं उठाती और अदालत की आलोचना करते हुए कहती है कि यहां न्याय में देर होती है। न्यायालय ने जेलों में बंद कैदियों की दुर्दशा पर राज्य सरकारों की ढील पर भी सख्ती दिखाते हुए राज्य सरकारों से पूछा कि वह आखिर कई नोटिस जारी किये जाने के बाद भी केंद्र को जवाब क्यों नहीं दे रही हैं।