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संविधान में हिंसा के लिए कोई जगह नहीं : राष्ट्रपति

By Dabangdunia News Service | Publish Date: Jul 26 2018 4:59PM | Updated Date: Jul 26 2018 4:59PM
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जगदलपुर। छत्तीसगढ़ में नक्सल विरोधी अभियानों में शामिल सुरक्षा बलों के त्याग को याद करते हुए राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने गुरूवार को कहा कि संविधान में हिंसा के लिए कोई जगह नहीं है। कोविंद ने माओवादियों द्वारा गुमराह किए गए नौजवानों का विश्वास जीतने और आतंक एवं हिंसा पर लगाम लगाने के लिए लोगों और सरकार द्वारा की जा रही कोशिशों की तारीफ की।
 
उन्होंने कहा , ‘‘ देश के कुछ हिस्सों में नक्सलवाद से गुमराह कुछ लोगों ने हिंसा और भय का माहौल बनाने की कोशिश की। हमारी संस्कृति एवं परंपरा और , सबसे बढ़कर , हमारे संविधान में हिंसा की कोई जगह नहीं है।
 
बस्तर जिले के दिमरापाल गांव में लेफ्टिनेंट बलिराम कश्यप मेमोरियल मेडिकल कॉलेज का नवनिर्मित अस्पताल भवन राष्ट्र को समर्पित करने के बाद एक सभा को संबोधित करते हुए राष्ट्रपति ने ये बातें कही। राष्ट्रपति ने कहा कि उन्हें जानकर खुशी हुई कि प्रशासन और समाज के ‘‘ संवेदनशील लोगों ’’ ने गुमराह हुए नौजवानों का विश्वास जीता है। कोविंद ने कहा कि उन्होंने अहिंसा और विकासात्मक गतिविधियों के जरिए हिंसा एवं आतंक की समस्या पर लगाम लगाने की कोशिश है।
 
उन्होंने नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में विकास कार्यों के लिए छत्तीसगढ़ और केंद्र सरकार की तारीफ की और इसके प्रति लोगों के समर्थन को भी सराहा। कोविंद ने कहा , ‘‘ मैं नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में लोगों की सुरक्षा और राज्य की अखंडता सुनिश्चित करने के दौरान पुलिस एवं अर्धसैनिक बलों के त्याग के लिए उन्हें सलाम करता हूं। ’’
 
उन्होंने कहा , ‘‘ आज कारगिल विजय दिवस है और मैं भारतीय थलसेना एवं उनके परिजन के त्याग को सलाम करता हूं। ’’ बस्तर में विकासोन्मुखी पहलों के लिए छत्तीसगढ़ की रमण सिंह सरकार की तारीफ करते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि क्षेत्र में कई अहम बदलाव हुए हैं जो क्षेत्र में सड़कों , शैक्षणिक संस्थानों , इंटरनेट कनेक्टिविटी और अन्य सुविधाओं से स्पष्ट है।
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