नई दिल्ली। भारत सरकार ने ग्रामीणों को रेल टिकट आसानी से उपलब्ध हो सके इसके लिए एक कदम उठाने का निर्णय लिया है। इस सुविधा के तहत अब उन्हें रेल टिकट बुकिंग के लिए भटकना नहीं पड़ेगा और आसानी से यह काम गांव में ही हो जाएगा। इसके साथ अब दूर जाकर वो निराश नहीं होंगे।
हालांकि डिजिटलाइजेशन के बाद आॅनलाइन टिकट कराना भी आसान हो गया है लेकिन आज भी बड़ी आबादी ऐसी है जो इंटरनेट और डिजिटलाइजेशन से वंचित है। ऐसे में उन्हें इन कामों के लिए पारंपरिक रास्तों को ही अपनाना पड़ता है। इसीलिए ग्रामीण इलाकों में साझा सेवा केंद्र (सीएससी) बनाए गए हैं।
ये ग्रामीणों को आॅनलाइन रेलवे टिकट कराने और अन्य सरकारी सेवाएं उपलब्ध कराने का काम करेंगे।ग्रामीण इलाकों में इसी सुविधा को उपलब्ध कराने के लिए रेल मंत्रालय तथा आईटी मंत्रालय ने एक समझौते पर हस्ताक्षर किया है। जिसके तहत अगले कुछ महीनों में साझा सेवा केंद्रों (सीएससी) के जरिए रेल टिकट बुक की जा सकेगी।
रेल मंत्री पीयूष गोयल ने इस अवसर पर कहा कि देश के सभी 2।9 लाख सीएससी को तकनीक के जरिए जोड़ते हुए उन्हें रेल टिकट बुकिंग में सक्षम बनाया जाएगा। उन्होंने कहा कि इस समय लगभग 40,000 सीएससी कनेक्ट हैं और अगले 8-9 महीने में सभी सीएससी में टिकट बुकिंग की सुविधा मिल जाएगी।
इस आशय का समझौता 'आईआरसीटीसी' व 'सीएससी इंडिया' के बीच किया गया है। आपको बता दें कि सीएससी इंडिया देश भर के ग्रामीण इलाकों में सरकारी सेवाओं के लिए साझा सेवा केंद्र (सीएससी) चलाती है। इस समझौते के तहत सीएससी आरक्षित व अनारक्षित दोनों तरह की टिकट बुकिंग कराने की सुविधा प्रदान करेगी। रेल मंत्री गोयल ने कहा कि वह 2.9 लाख सीएससी को बैंकिंग प्रतिनिधि के रूप में काम करने की अनुमति देने की दिशा में काम करेंगे।
इसके साथ ही सीएससी के बैंकों में विस्तारित काउंटर स्थापित करने की संभावना भी तलाशी जाएगी। उन्होंने आईटी मंत्री रवि शंकर प्रसाद से सीएससी के जरिए वित्तीय सेवा देने के उनके प्रस्ताव पर भी चर्चा की। अब ग्रामीण इलाकों में ट्रेन के टिकट बुक करवाने के लिए लोगों को स्टेशन नहीं जाना पड़ेगा। लोग कॉमन सर्विस सेंटर के जरिए ही जल्द ट्रेन का टिकट बुक करवा सकेंगे। आपको बता दें कि एक दिन पहले ही भारतीय रेलवे ने रेलवे में यात्रा करने वाले यात्रियों के लिए दो महत्वपूर्ण एप लांच किए हैं।