इंदौर। पाकिस्तान से भारत में आई मुक बधिर बालिका गीता के माता पिता को तलाशने वाले को एक लाख रुपए का पुरस्कार दिया जाएगा। यह घोषणा रविवार को विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने की है।
उन्होंने लोगों से अपील की है कि वे गीता के माता-पिता को खोजने मे मदद करें। उन्होंने कहा कि शायद गीता बिहार या झारखंड से संबंधित है। गीता के पाकिस्तान से वापस आने पर कई जोड़ों ने उसके माता-पिता होने का दावा किया था, लेकिन उनके दावों की पुष्टि नहीं हो पाई थी।
सुषमा ने रविवार को एक वीडियो संदेश जारी किया है जिसमें गीता भी उनके साथ खड़ी है। वीडियो में उन्होंने कहा, आज मैं अपने देशवासियों के सामने बहुत भारी मन से अपील कर रही हूं। मेरे साथ गीता खड़ी है यह न बोल सकती है न सुन सकती है। यह वही लड़की है जो 10-12 वर्ष पहले पाकिस्तान पहुंच गई थी, कैसे पहुंची यह रहस्य है, अगर यह बोल पाती तो बता देती।
इंदौर से दिल्ली पहुंची गीता
शनिवार को संस्था के सदस्य गीता को लेकर दिल्ली गए थे, जहां उसे विदेश मंत्री सुषमा स्वाराज से रविवार को मुलाकात कराई गई थी। दरअसल गीता को भारत लाए जाने के बाद से ही उसे इंदौर की संस्था मूक-बधिर संगठन में रखा गया है। हालांकि गीता के माता-पिता होने का अभी तक कई परिवारों ने दावा किया है, लेकिन उनके दावे खोखले ही साबित हुए हैं। गीता ने इनमें से किसी को भी नहीं पहचाना है।
संस्था से चले गई थी गीता
गीता की पढ़ाई इंदौर की मूक-बधिर संस्था में चल रही है। वह संस्था से पिछले दिनों कहीं चले गई थी। तब तत्कालीन कलेक्टर पी.नरहरि ने एसडीएम स्तर के अधिकारी की जिम्मेदारी भी तय की थी कि वे लगातार गीता के मामले में मॉनिटरिंग करेंगे।