नई दिल्ली। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने मंगलवार को कहा कि कई संस्कृतियों और सभ्यताओं से पोषित यूनानी चिकित्सा पद्धति मानव समाज के लिए अद्भुत वरदान है और यह सुगम उपलब्धता, पहुंच और समग्र पद्धति के कारण दूर दराज के लोगों की भी स्वास्थ्य जरूरतों को पूरा कर रही है। सिंह ने यहां यूनानी चिकित्सा दिवस पर आयोजित दो दिवसीय अंतरराष्ट्रीय यूनानी चिकित्सा सम्मेलन का उद्घाटन करते हुए यह बात कही। उन्होंने कहा,‘‘यह चिकित्सा पद्धति गैर संचारी रोग समेत कई स्वास्थ्य चुनौतियों के समाधान में महत्वपूर्ण भूमिका अदा कर सकती है।’’
इस मौके पर उपस्थित केन्द्रीय मंत्री जितेन्द्र सिंह ने एकीकृत और समग्र स्वास्थ्य देखभाल की जरूरत पर जोर देते हुए कहा कि ये भविष्य में वैश्विक स्तर स्वास्थ्य नीतियों और कार्यक्रम को दिशा दे सकेंगे। डॉ. सिंह ने कहा कि विश्व के कई देशों में भी सम्रग चिकित्सा पद्धति, खासकर गैर संचारी रोगों और पुरानी बीमारियों के प्रबंधन में रुचि देखी जा रही है।
केंद्रीय आयुष राज्य मंत्री श्रीपद येसो नाईक ने सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि सस्ती और प्रभावी होने के कारण यह चिकित्सा पद्धति बुजुर्गों की स्वास्थ्य चुनौतियों, पुराने रोग, पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन से होने वाली शारीरिक व्याधियों के प्रभावों को बेहतर तरीके से नियंत्रण कर सकती है। इस मौके पर यूनानी चिकित्सा के कई वैज्ञानिकों और विशेषज्ञों को आयुष पुरस्कार से पुरस्कृत किया गया। साथ ही , ‘यूनानी मेडिसिन एंड रिसर्च ट्रेंड्स-ऐन इनसाइट एंड यूनानी मेडिसिन :द साइंस ऑफ हेल्थ एंड हीलिंग -ओवरव्यू ’ स्मारिका का विमोचन भी किया गया।