नई दिल्ली। भारतीय कंपनी एमिडा क्लीनटेक ने फ्रांस, जर्मनी, स्पेन और अन्य विकसित देशों की प्रमुख कंपनियों को कड़ी टक्कर देते हुये फ्रेंच रेलवे (एसएनसीएफ) में अपनी एयर प्यूरीफिकेशन प्रौद्योगिकी लगाने में सफल रही है। कंपनी ने शुक्रवार को यहां कहा कि उसकी इस उपलब्धि को ‘मेक इन इंडिया’ मिशन के लिए एक बड़ी सफलता के रूप में देखा जा रहा है। एसएनसीएफ ने दुनिया भर की अनेक एयर प्यूरीफिकेशन प्रौद्योगिकियों का परीक्षण और मूल्यांकन किया और इनमें से जिन पांच मान्यता प्राप्त चुनी गई प्रौद्योगिकियों को फ्रांस में एसएनसीएफ स्टेशनों पर परीक्षण के लिए कार्यान्वित किया गया उनमें एमिडा क्लीनटेक द्वारा विकसित तकनीक भी शामिल है।
फ्रेंच रेलवे ने भारतीय तकनीक को पेरिस में एवेन्यु फोक रेलवे स्टेशन पर मांच महीने तक वास्तविक परिस्थितियों में कार्यान्वित किया और इसके आधार पर इसे मान्यता प्रदान की। एमिडा क्लीनटेक द्वारा स्वदेशी आधार पर विकसित एयर प्यूरीफिकेशन तकनीक को विकसित करने में तीन वर्ष लगे हैं। अब फ्रांस के रेलवे स्टेशनों पर इसे बड़े पैमाने पर लगाए जाने के लिए इसका मूल्यांकन किया जा रहा है। आरंभिक चरण में 50 स्टेशनों पर इसे लगाए जाने की योजना है और बाद में इसे 300 स्टेशनों पर लगाया जाएगा।
कंपनी के प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी सिद्धार्थ दीक्षित ने कहा कि इस प्रौद्योगिकी में प्रकृति के गुणों को सिंक्रोनाइज करके एक समायोजन तैयार किया जाता है जिससे हवा स्वयं ही अपना फिल्टर बन जाती है। इसमें वायु के अणुओं को तोड़ने और प्रदूषकों को पकड़ने / नष्ट करने के लिए उन्नत आयनिक विज्ञान के सिद्धांतों का उपयोग किया जाता है। वायु जनित प्रदूषक मोटे धूल में तब्दील हो जाते हैं और इसे आसानी से हटा दिया जाता है। उन्होंने कहा कि उनकी तकनीक दो प्रतिस्पर्धी तकनीकों में से एक है और एशिया से चुनी गई एकमात्र तकनीक है जो आयनिक विज्ञान के ऐसे उच्च स्तरों के साथ व्यावसायिक पैमाने तक पहुंचने में सफल हुई है। यह तकनीक पूरी तरह से भारत में विकसित हुई है और इसे पेटेंट कराया गया है। यह ‘मेक इन इंडिया’ कार्यक्रम की सफलता का एक उदाहरण है।