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समय के साथ बदलाव को अपनाना होगा- स्मृति ईरानी

By Dabangdunia News Service | Publish Date: Nov 11 2019 12:29AM | Updated Date: Nov 11 2019 12:29AM
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नई दिल्ली। केन्द्रीय कपड़ा मंत्री स्मृति ईरानी ने कहा कि भारत एक कृषि प्रधान देश है जहां हम एक दूसरे के मूल्यों पर आगे नहीं बढ़ सकते बल्कि हमें समय के साथ बदलाव को अपनाना होगा। ईरानी ने रविवार को इंडियन कॉटन एसोसिएशन की ओर से ‘बदलाव की चुनौती’विषय पर आयोजित ‘इंडियन कॉटन कॉन्फ्रेंस 2019’ में यह बात कही। ईरानी ने कहा कि भारत एक कृषि प्रधान देश है जहाँ हम एक दूसरे के मूल्य पर आगे नहीं बढ़ सकते, हम कब तक एक दूसरे पर निर्भर  रहेंगे, यह इंडस्ट्री ही तय कर सकती है। हमें समय के साथ बदलाव को अपनाना होगा। उन्होंने कहा, ‘‘यहां मैं किसानों की नहीं बल्कि इंडस्ट्री की बात कर रही हूं।
 
हम कब तक इन चुनौतियों को लेकर आपस में बहस करेंगे, क्या हम इस समय को भविष्य की विकास की योजना में नहीं लगा सकते।’’ इस अवसर पर केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्य मंत्री पुरुषोत्तम रुपाला ने कहा, ‘‘इस कार्यक्रम में हम किसानों की समस्याओं पर तो चर्चा नहीं कर सकते पर उनके हालातों पर गंभीरता से सोचने की जरुरत है जिसके लिए हमारे प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने अनेकों कदम उठायें हैं। उद्योग के साथ-साथ हमें किसानों की आय को बढ़ाने की जरूरत है।’’इंडियन कॉटन एसोसिएशन के अध्यक्ष महेश शारदा ने कहा कि भारत कपास के उत्पादन में सबसे बड़ा देश है, यह पांच से छह करोड़ लोगों को रोजगार देता है।
 
विश्व का 37 प्रतिशत क्षेत्र और विश्व कपास उत्पादन में 26 प्रतिशत का योगदान देकर पुरे दुनिया में कपास उत्पादन में हम सबसे आगे हैं, लेकिन इसके बावजूद आज भी कपास की गुणवत्ता सबसे बड़ी चुनौती है। इस कॉन्फ्रेंस में पिछले दो वर्षों में कपास व्यापारियों की चुनौतियों और उनके संभावित हल को लेकर चर्चा की गयी। इस कॉन्फ्रेंस में उर्वरक में उपयोग किये जाने वाले उजला प्लास्टिक पर पूरी तरह से पाबंदी लगाने का सुझाव दिया गया, जिससे कपास की कीमत और किसानों की आय में बढ़ोतरी होगीे इस मौके पर किसानों और इन इंडस्ट्री के कई मुद्दों पर भी चर्चा की गयी। 
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