नई दिल्ली। चुनाव आयोग ने उच्चतम न्यायालय के निर्देशानुसार प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर बनी बायोपिक देख ली है और अब उस पर विचार किया जा रहा है। इस बीच आयोग ने महाराष्ट्र के लातूर में सेना के संबंध में दिये गये मोदी के भाषण का मूल पाठ मंगा लिया है और सबरीमला के मुद्दे पर दिये गये उनके कथित आपत्तिजनक भाषणों की भी रिपोर्ट मांगी है। आयोग के अधिकारियों ने आज रात पत्रकारों के प्रश्नों के उत्तर में बताया कि पहले लातूर में दिये गये मोदी के भाषण का वह अंश मंगाया गया था, जिस पर आपत्ति दर्ज करायी गयी थी, लेकिन अब वहां से उनके भाषण का मूल पाठ मंगा लिया गया है, ताकि तथ्यों की पूरी छानबीन की जा सके। सबरीमला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश पर प्रधानमंत्री के भाषण को उच्चतम न्यायालय के फैसले की अवमानना तथा चुनाव आचार संहिता का उल्लंघन बताने संबंधी माकपा की शिकायत पर आयोग ने कहा कि इस मामले में जिला चुनाव अधिकारी से पूरी रिपोर्ट मांगी गयी है।
यह पूछे जाने पर कि प्रधानमंत्री की बायोपिक के बारे में क्या फैसला लिया गया, आयोग के अधिकारियों ने बताया कि फिल्म ‘पीएम नरेन्द्र मोदी’ आयोग ने देख ली है और फिल्म निर्माता से उनका पक्ष भी मिल गया है। अब एक समिति पूरे मामले का अध्ययन कर रही है। नमो टीवी के बारे में आयोग ने कहा कि मीडिया निगरानी समिति द्वारा पूर्व प्रमाणित सामग्री को उस पर दिखाया जा सकता है, लेकिन मतदान शूरू होने से 48 घंटे पूर्व की अवधि के दौरान उसे नहीं दिखाया जा सकता, किंतु सीधा प्रसारण में उम्मीदवार विशेष और चुनाव क्षेत्र विशेष का उल्लेख नहीं किये जाने पर उसे प्रसारित किया जा सकता है। रेल टिकटों पर प्रधानमंत्री की अब भी तस्वीर छपने की कांग्रेस की शिकायत पर आयोग ने कहा कि इस बारे में रेलवे से रिपोर्ट मांगी गयी है। आयोग ने बताया कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री एवं तृणमूल कांग्रेस की नेता ममता बनर्जी पर बनी फिल्म ‘बाघिन’ पर भी रिपोर्ट मांगी गयी है। आयोग ने यह भी बताया कि समाजवादी पार्टी नेता आजम खां के भड़काऊ भाषण को लेकर भेजे गये नोटिस का जवाब मिल गया है।