रफी मोहम्मद शेख इंदौर। मोती तबेला स्थित माता जीजाबाई गर्ल्स डिग्री कॉलेज (ओल्ड जीडीसी) की महिला अकाउंटेंट का गंभीर अनियमितता का मामला सामने आया है। उक्त अकाउंटेंट ने एक ऐसी प्रोफेसर का नियमित वेतन करीब एक लाख रुपए जारी कर दिया, जो एक माह पहले रिटायर्ड हो चुकी है। प्रिंसिपल ने उसे अकाउंटेंट के प्रभार से हटा दिया है।
जानकारी के अनुसार ओल्ड जीडीसी में अकाउंटेंट का पद खाली है। इस पर प्रभारी के रूप में कई साल से लिपिक सुधा शर्मा के पास चार्ज है। इस महीने नवंबर का नियमित वेतन अकाउंटेंट द्वारा जारी किया गया। इसमें एक गंभीर अनियमितता कर अकाउंटेंट ने प्रोफेसर डॉ. आभा अग्रवाल का करीब एक लाख रुपए वेतन जारी कर दिया।
लेन-देन से मिलीभगत
डॉ. अग्रवाल अक्टूबर 2016 में ही कॉलेज से रिटायर्ड हो चुकी है। रिटायर्ड होने वाले प्रोफेसर को सारे लाभ देने के बाद वेतन-पत्रक से हटा दिया जाता है और नियमित वेतन जारी ही नहीं हो सकता। बताया जा रहा है कि उक्त अकाउंटेंट नेमिलीभगत से इसे जारी किया है। खास बात यह है कि प्रिंसिपल भी 50 से ज्यादा प्रोफेसर्स का एक साथ वेतन जारी होने के कारण इस बड़ी गलती को पकड़ नहीं पाई।
अतिरिक्त संचालक कार्यालय के कहने पर प्रिंसिपल ने हटाया
एडी आॅफिस से कार्रवाई
मामला जीडीसी परिसर स्थित उच्च शिक्षा विभाग के अतिरिक्त संचालक कार्यालय पहुंचा। उन्होंने जांच स्पेशल ओएसडी डॉ. एस.बी. सिंह से करवाई तो मामला सही पाया गया। कार्यालय ने ओल्ड जीडीसी की प्रभारी प्रिंसिपल डॉ. माधुरी पटेरिया को जानकारी देकर इसे गंभीर वित्तीय अनियमितता माना। साथ ही सुधा शर्मा के खिलाफ कार्रवाई कर पद से हटाने को कहा। चेतावनी दी कि अगर प्रिंसिपल कार्रवाई नहीं करती है तो उसे सीधे निलंबित कर दिया जाएगा और संबंधितों पर भी कार्रवाई होगी।
अन्य शिकायतें भी
अब प्रभारी प्रिंसिपल ने अकाउंट की जिम्मेदारी अन्य लिपिक को सौंप दी है। मामले में जांच भी बैठाई गई है। जानकारी के अनुसार उक्त अकाउंटेंट के खिलाफ अन्य मामलों में भी शिकायतें आ रही हैं। अब अन्य वित्तीय अनियमितताओं के सबूत उच्च शिक्षा विभाग तक पहुंचाएं जा रहे हैं।
जांच कर कार्रवाई होगी
हां, शिकायत आई थी। जांच के बाद सही पाई गई है और हमने प्रिंसिपल को उक्त अकाउंटेंट को हटाने को कहा था। प्रिंसिपल ने उक्त प्रभार उससे ले लिया है। जल्दी ही मामले में जांच कर कार्रवाई होगी।
- डॉ. एस.बी. सिंह, ओएसडी, अतिरिक्त संचालक कार्यालय, उच्च शिक्षा विभाग