नई दिल्ली। एक सुबह जब मुझे महसूस हुआ कि उठने में ताकत लगाना पड़ रही है तो ऐसा लगा कि अब मुझे संन्यास ले लेना चाहिए। यह बात भारत के महान बल्लेबाज सचिन तेंडुलकर ने कही। सचिन तेंडुलकर गुरुवार को पेशेवर नेटवर्किंग वेबसाइट लिंक्डइन से जुड़े। इस साइट से इन्फ्लुएंसर के तौर पर जुड़ने वाले सचिन ने एक ब्लॉग के जरिए क्रिकेट से संन्यास और इसके बाद के जीवन पर कई बातें लिखी हैं।
सचिन ने लिखा, अक्टूबर 2013 में दिल्ली चंैपियंस लीग गेम्स चल रहे थे। मेरी सुबह की शुरुआत जिम वर्कआउट के साथ होती थी, जिसे मैं पिछले 24 वर्षों से फॉलो कर रहा था, लेकिन वह सुबह कुछ बदली हुई सी थी। मैंने महसूस किया कि मुझे उठने और दिन की शुरुआत करने के लिए जो ताकत चाहिए थी, उसमें कमी महसूस हो रही है। उस सुबह उठने में मुझे जोर लगाना पड़ रहा था। इस बदलाव के बाद मैंने महसूस किया कि जिम वर्कआउट मेरे क्रिकेट कॅरियर के लिए कितना महत्वपूर्ण है। जो काम मैं पिछले 24 साल से रोज करता आ रहा था, लेकिन उस सुबह मेरी कुछ करने की इच्छा नहीं हो रही थी, क्यों?...। ये वो संकेत था, जो अहसास करा रहा था कि अब मुझे रुक जाना चाहिए। खेल मेरी जिंदगी का सबसे प्यारा हिस्सा था, लेकिन उस दिन मुझे लगा कि अगर मैं कुछ फैसला नहीं लेता हूं तो फिर मैं खेल के साथ न्याय नहीं कर पाऊंगा।
मैदान के बाहर भी काफी कुछ सीखा
सचिन ने कहा, मैं लगातार सीख रहा हूं और हाल के दौर में मैदान के बाहर मैंने काफी कुछ सीखा है। यह अनुभव मेरे अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट के अनुभव से अलग है। एक टीम का हिस्सा होना और लगातार सीखते रहना मेरे आगे बढ़ने का कारण है। उन्होंने कहा, मेरा लक्ष्य अपना अनुभव लिंक्डइन जैसे मंच के साथ साझा करना है, ताकि मैं बड़ी तादाद में पेशेवर लोगों और उद्यामियों तक पहुंच सकूं। उन्हें एक अलग सोच दे सकूं तथा उनके हर दिन के प्रदर्शन को बेहतर करने में उनकी मदद कर सकूं।