इंदौर। अब इसे मध्यप्रदेश क्रिकेट एसोसिएशन (एमपीसीए) की लापरवाही कहें या व्यवस्था में खामी, लेकिन इसके कारण गुरुवार को होलकर स्टेडियम में माधवराव सिंधिया एक दिवसीय क्रिकेट टूर्नामेंट के अंतरर्गत चंबल और शहडोल के बीच मुकाबला स्थगित करना पड़ा। दरअसल दोनों टीमों को समय पर ड्रेस उपलब्ध नहीं हो पाई। अब यह मुकाबला शुक्रवार को खेला जाएगा।
होलकर स्टेडियम पर दोनों टीमें नई ड्रेस नहीं मिलने पर जेएन भाया टूर्नामेंट की ड्रेस पहनकर खेलने को तैयार थीं, लेकिन एमपीसीए ने ऐसा होने नहीं दिया। आश्चर्य की बात है कि 10-12 दिन पहले ही टूर्नामेंट का कार्यक्रम तय हो गया था और एमपीसीए को यह भी मालूम था कि उसे टीमों को ड्रेस उपबल्ध करना है लेकिन लापरवाही और व्यवस्था में कमी के कारण चंबल और शहडोल की टीमों को समय पर ड्रेस नहीं मिल पाई।
अब टूर्नामेंट का कार्यक्रम भी बदलेगा और इसका खामियाजा टीमों को उठाना पड़ेगा। टूर्नामेंट के मुकाबले कार्यक्रम के अनुसार इंदौर और ग्वालियर में खेले जाना हैं। टूर्नामेंट में इंदौर सहित 11 टीमें शिरकत कर रही हैं। गुरुवार को शुरुआती मुकाबले खेले जाने थे।
एक बार गेंद ही नहीं पहुंचा पाए
खिलाड़ियों को समय पर ड्रेस उपलब्ध नहीं करा पाने की घटना नई भले ही हो लेकिन इससे पहले भी एमपीसीए के कर्ताधर्ता बोर्ड के एक मैच में गेंद समय पर उपलब्ध नहीं पहुंचा पाए थे। कुछ माह पूर्व रीवा में मध्यप्रदेश और मुंबई के बीच विजय मर्चेंट ट्रॉफी अंडर-19 का मैच था, लेकिन एमपीसीए समय पर गेंद ही नहीं पहुंचा पाया।
गेंद मैच प्रारंभ होने से पूर्व पहुंचाने के लिए आनन फानन में स्पेशल कार हायर की गई और मैच की गेंदों को गंतव्य तक पहुंचाया गया। यह सब करने में एमपीसीए को लगभग 23 से 25 हजार रुपए का फटका लग गया था। और एक बार तो एमपीसीए रणजी टीम में किए फेरबदल की घोषणा करना ही भूल गया था जिसे उसने अपनी गलती माना था। एमपीसीए के सचिव और सीईओ को भी मालूम नहीं था कि टीम की घोषणा की गई या नहीं।
आॅर्डर डिस्पेच नहीं हो पाया
दोनों टीमों की ड्रेस के लिए आॅर्डर किया था लेकिन समय पर डिस्पेच नहीं हो पाया था। मुकाबला अब शुक्रवार को खेला जाएगा।
-मिलिंद कनमड़ीकर, सचिव एमपीसीए