29 Mar 2024, 01:25:03 के समाचार About us Android App Advertisement Contact us app facebook twitter android

कलाकार: रणवीर सिंह, आलिया भट्ट, कल्कि कोचलिन, विजय राज 
निर्देशक: जोया अख्तर
 
कहानी :
 
डायरेक्टर जोया अख्तर ने एक नवोदित रैप म्यूजिशियन, मुराद (रणवीर सिंह) की भावनात्मक रूप से समृद्ध और इंस्पायर करने वाली कहानी बुनी है, जो धारावी में पहले से ही भीड़-भाड़ वाले और तंग गलियों में बने घर में एक अच्छा जीवन जीने के लिए संघर्ष कर रहा है। जोया ने रैप आर्टिस्ट नैजी (डिवाइन के साथ) की एक असामान्य और बेहद रोचक सच्ची कहानी को चुना है, जो धारावी के गलियों से आता है, लेकिन उसका टैलेंट और अपने सपनों को सच करने का जुनून उसे बड़ा बनाता है।
 
मुराद घर में गरीबी की वजह से दबा सा महसूस करता है, जहां उसके रूढ़िवादी और वर्चस्व वाले पिता (विजय राज) और उसकी हमेशा से पीड़ित मां (अमृता सुभाष) है। उसका एकमात्र सहारा बचपन की प्रेमिका सैफीना (आलिया) है। सैफीना, जो सर्जन बनने वाली है, वह भी एक रूढ़िवादी घराने में फंसी हुई है, जहां उसे अपनी उम्र की सामान्य लड़कियों की तरह कहीं भी जाने की अनुमति नहीं है। हालांकि, मुराद की तुलना में सैफीना हालातों का सामना ज्यादा अच्छे ढंग से करती है। यह देखना वाकई दिलचस्प है कि कपल किस तरह अपने आसपास इतने लोग होने के बावजूद कुछ पल की प्राइवेसी निकाल लेता है और उनका प्यार बिगड़े हालातों में भी बढ़ता रहता है। दब्बू मुराद की लाइफ तब बदल जाती है, जब वह रैपर एमसी शेर (सिद्धांत चतुर्वेदी) से मिलता है। एमसी शेर मुराद के टैलेंट पर उससे ज्यादा भरोसा करता है। वह मुराद के दब चुके सपने को एक नया आउटलेट देता है।
 
मुराद और सैफीना की दुनिया को इतने उम्दा तरीके से क्रिएट करने के लिए जोया को सलाम। उसे इतनी संवेदनशीलता के साथ दिखाया गया है कि आप पहले सीन से इसका हिस्सा बन जाते हैं। इस फिल्म में कई शानदार सीन हैं। एक सीन में विदेशी लोग धारावी में गरीबी देखने आते हैं और मुराद की दादी अपने घर की विजिट के लिए 500 रुपए की डिमांड करती हैं। विजय मौर्य द्वारा लिखित ताली बजाने लायक डायलॉग और जोया और रीमा कागती द्वारा लिखी शानदार स्क्रिप्ट की मदद से जोया एक प्रभावशाली फिल्म देने में कामयाब रही हैं। जोया की मुख्य जोड़ी रणवीर सिंह और आलिया भट्ट इस फिल्म के विनर हैं।
 
जहां रणवीर अपने दिल और आत्मा को इस भूमिका में रख देते हैं, वहीं आलिया इस बार भी अपनी एक्सीलेंसी के साथ नजर आई हैं। सिद्धांत चतुर्वेदी, जो इस फिल्म से शुरुआत कर रहे हैं, काफी अच्छा काम किया है। उनकी स्क्रीन प्रेजेंस बेहतरीन है। ज़ोया ने अपनी कास्ट को अच्छी तरह से चुना है। हालांकि, मुराद की मां की भूमिका निभाने वाली अमृता सुभाष मां के रोल के लिए काफी यंग लगती हैं। वहीं कल्कि कोचलिन ट्रैक में फिट नहीं होतीं और उनका ट्रैक इस शानदार कहानी पर थोपा हुआ लगता है।
 
 

 

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