नई दिल्ली। भारत के चोटी के बैडमिंटन खिलाड़ी अजय जयराम को लगता है कि चोट के साथ संघर्ष ने उनको मानसिक तौर पर अधिक सुढृढ़ और आक्रामक बनाया और अब उनका सारा ध्यान मार्च में आॅल इंग्लैंड बैडमिंटन चैम्पियनशिप में पदक जीतने पर केंद्रित है। कोरिया ओपन के फाइनल मैच में जगह बनाकर जयराम ने पहली बार किसी सुपर सीरीज के निर्णायक मुकाबले में जगह बनाई थी। इसके बाद उन्होंने डच ओपन जीता था।
उन्होंने कहा ‘‘मेरे ख्याल से मैंने बहुत अधिक चुनौतियों का सामना किया है और उससे मानसिक रूप से अधिक सुढृढ़ बना हूं। वर्ष 2014 में घायल होने के बाद मैं छह महीने के लिए बाहर हो गया था और शुरू में लौटना ज्यादा कठिन था। लेकिन मैंने महसूस किया कि जिंदगी चुनौतियों के दौर से गुजर रही है
और ऐसे में इससे बाहर निकलने का सबसे अच्छा रास्ता संघर्ष जारी रखना है। उन्होंने कहा ‘‘मैं मार्च में होने वाले आॅल इंग्लैंड चैम्पियनशिप की प्रतीक्षा कर रहा हूं और अगर कोरिया ओपन की तरह की अच्छी शुरआत मुझे मिली तो मैं पदक जीत सकता हूं। यह मेरा लंबे समय का सपना और सबसे बड़ा लक्ष्य रहा है।