मुस्लिम समाज के लिए इबादत का खास महीना रमजान हर साल करीब 10 दिन घटता जा रहा है। धरती और चांद की गति पर निर्भर यह माह बारिश से गर्मी की ओर खिसक रहा है। इसी चक्र के चलते इस बार 33-34 साल बाद गर्मियों के दिनों में रमजान आया है।
पिछले साल यह 6-7 जून को आया था और इस बार 28 मई से शुरू हो रहा है और ईद 26-27 जून को आने की संभावना है। आने वाले साल में 16-17 मई को रमजान आएगा। बड़ी बात यह भी है कि गर्मियों में दिन बड़े होने के कारण इस बार 15 घंटे से ज्यादा का रोजा आ रहा है, जबकि सबसे छोटे रोजे दिसंबर के होते हैं।
शहरकाजी डॉ. इशरत अली ने बताया उर्दू कैलेंडर के मुताबिक चांद कभी 29 को तो कभी 30 तारीख को दिखाई देता है। आने वाले 32 सालों में रोजे का समय घटता जाएगा।
खाए गर्मी में सुकून देने वाले फल
आईडीए के पूर्व उपाध्यक्ष अब्दुल रऊफ कहते हैं रमजान में रोजा रखते वालों को मौसम के अनुकूल खान-पान रखना चाहिए। इस बार रोजे बड़े और गर्मी का मौसम होने से सेहरी और इफ्तारी में तरबूज, खरबूज, खीरा, केले और ऐसे ही गर्मी में राहत पहुंचाने वाले फलों का इस्तेमाल करना चाहिए। इसी तरह नारियल पानी भी सेहत के लिए बहुत अच्छा होता है। प्रयास यह भी रहता है कि खाने में बिना तले पकवान लें। दूध, दही, छाछ, खीर का उपयोग करें।
पूरे माह चलेगा इबादत का दौर
रमजान में पूरे माह, चौबीसों घंटे घरों और मस्जिदों में लोग इबादत करते दिखाई देंगे। इसके तहत कुरआन पढ़ी जाएगी, यासिन शरीफ का पाठ होगा और मोती की तसबीर से कुरआन की आयतें पढ़ी जाएंगी।
पांच मिनट पहले बंद होता है खाना-पीना
माना जाता है कि सेहरी के आखिरी वक्त से पांच मिनट पहले से खाना-पीना बंद कर दिया जाता है। अन्यथा अजान तक खाने-पीने से रोजा कुबूल नहीं होता है।
इस रमजान के चार जुमे
पहला जुमा- 2 मई (रमजान की 6 तारीख)
दूसरा जुमा- 9 मई (रमजान की 13 तारीख)
तीसरा जुमा- 16 मई (रमजान की 20 तारीख)
चौथा और अलविदा जुमा- 23 मई ( रमजान की 27 तारीख)
सेहरी-इफ्तार
पहला- रोजा रविवार (सुबह 4.09 बजे सेहरी, इफ्तार शाम 7.09 बजे)
सेहरी सोमवार (पीर)- सुबह 4.08 बजे)